Muzaffarnagar: उत्तर प्रदेश के जिला मुजफ्फरनगर में सन 2013 में हुए कवाल कांड में भाजपा विधायक विक्रम सैनी सहित 12 लोगों को दोषी करार दिया है। साथ ही 2 साल की सजा और 10-10 हजार का जुर्माना लगाया है। हालांकि, सजा सुनाने के ठीक बाद बीजेपी विधायक सहित सभी 12 दोषियों को कोर्ट से ही जमानत दे दी गई है। विक्रम सैनी मौजूदा खतौली से भाजपा विधायक हैं।
क्या था पूरा मामला?
27 अगस्त 2013 को मलिकपुरा निवासी भाईयों सचिन और गौरव की हत्या कर दी गई थी। जिससे गांव में तनाव फैल गया था और 28 अगस्त को सचिन और गौरव की अंत्येष्टि से लौटते लोगों ने कवाल में मारपीट और तोड़ फोड़ की थी। इसके बाद समाचार पत्रों में प्रकाशित फोटो को लेकर कवाल में दोनों समुदाय के लोगों के बीच बहस हो गई थी।
Muzaffarnagar: जनपद के कवाल गांव में गौरव और सचिन की हत्या के बाद पुलिस ने खतौली विधानसभा सीट से बीजेपी विधायक विक्रम सैनी सहित 28 लोगों पर धारा 147 ,148 ,149 ,307 ,336 ,353 ,504 और 506 में मुकदमा दर्ज किया था। इसी मामले में विधायक विक्रम सैनी सहित सभी 28 में से 12 लोगों को मुजफ्फरनगर स्थित एमपी-एमएलए कोर्ट ने दो-दो साल की सजा सुनाते हुए 10-10 हज़ार रुपये का आर्थिक दंड लगाया, जबकि 15 लोग इस मामले में सबूतों के अभाव में बरी हो गए। सुनवाई के दौरान एक आरोपी की मृत्यु हो गई थी।
हाईकोर्ट को चुनौती देंगे भाजपा विधायक
भाजपा विधायक विक्रम सैनी की मानें तो वह न्यायपालिका का सम्मान करते हैं, लेकिन वह निचली अदालत के फैसले को हाईकोर्ट में चुनौती देंगे। इस मामले की जानकारी देते हुए विधायक विक्रम सैनी के वकील भरतवीर सिंह अहलावत ने बताया, कि विधायक के ऊपर मुस्लिमों के खिलाफ लोगों को भड़काने का आरोप लगा था।
Muzaffarnagar: उस समय सात-आठ लोगों को पुलिस ने पकड़ लिए थे और बाकी भाग गए थे। जो भाग गए थे वह सब तो बरी हो गए, लेकिन जो मौके पर पकड़े गए थे उन सभी को दो-दो साल की सजा और दस-दस हज़ार रूपये का जुर्माना लगाया गया है। विधायक विक्रम सैनी भी इसमें शामिल हैं। 2 साल की सजा हुई है, इसलिए विधायक समेत सभी 12 को न्यायालय से ही जमानत मिल गई है।